छत्तीसगढ़ निकाय चुनाव, अविभाजित म,प्र,का दौर एक बार फिर दिखाई दे रहा है।

छत्तीसगढ़ निकाय चुनाव, अविभाजित म,प्र,का दौर एक बार फिर दिखाई दे रहा है।

छत्तीसगढ़ निकाय चुनाव, अविभाजित म,प्र,का दौर एक बार फिर दिखाई दे रहा है।

रायपुर न्यूज/ प्रदेश के नगर निगमों में चुनाव आगे बड़ते नजर आ रही है एक बार फिर वही दौर वापस लौटता नजर आ रहा है जो कई सालों पहले वर्ष 1987 से 1995 के बीच का दौर रहा है मालूम हो कि छत्तीसगढ़ के 14 नगरीय निकाय के साथ ही त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव को लेकर राज्य शासन द्वारा जिस तरह की योजना बनाई जा रही थी कि एक राज्य एक चुनाव की अवधारणा पूरी होते दिखाई दे रही है अब तो इस बात की संभावनाएं भी बलवति होने लगी है कि समय पर ना तो निकायों के चुनाव हो पायेंगे और ना ही पंचायतों के स्थानियो निकायों और पंचायतो में लंबे अरसे बाद फिर प्रशासक राज की धमक दिखाई देगी राज्य सरकार के सामने एक बार फिर चुनौती रहेगी कि प्रदेश के सभी 14 नगरीय निकायों में चुनाव में विलंब कि चर्चा भी तेज हो गई है सूत्रों के अनुसार प्रशासनिक गलियारो में इस बात कि भी चर्चा छिड गई है कि क्या निकायों व पंचायत के चुनाव तक चुनिंदा जिलों के एस पी और कलेक्टर की कुर्सी सलामत रहेगी या फिर आचार संहिता लगने से पहले छूट्टी कर दी जाएगी बदलाव और पुरानी व्यवस्थाओं को लेकर बहरहाल अटकल बाजी का दौर जारी है नगरीय निकाय व पंचायत चुनाव के लिए जरूरी औपचारिकताओ को पूरा करने में लगने वाले समय और इस बीच स्कूली बच्चों की परीक्षा सहित तमाम बिंदुओं पर चर्चा चुनावी मसला इस बात पर जाकर टिक गया है कि क्या दोनों चुनाव की तैयारी जल्द पूरी की जा सकती हैं अगर विलंब हुआ तो क्या चुनाव मार्च तक या फिर आगे के लिए टल जाऐगा।